रायपुर
छत्तीसगढ़ की बीजेपी सरकार पांच साल बाद राजिम कुंभ के भव्य आयोजन की तैयारी कर रही है। राजिम कुंभ 24 फरवरी से 8 मार्च तक चलेगा। इसका पहला न्योता भगवान राम को दिया गया। शुक्रवार को मंत्री बृजमोहन अग्रवाल रायपुर के राम मंदिर पहुंचे। यहां मंत्रोच्चार के साथ उन्होंने निमंत्रण पत्र दिया।
15 दिन तक चलने वाले इस कुंभ में कई साधु-संत त्रिवेणी संगम नगरी राजिम पहुंचेंगे। इस बार जगदगुरु शंकराचार्य के साथ ही बागेश्वर धाम के पंडित धीरेंद्र शास्त्री, सीहोर वाले पं. प्रदीप मिश्रा भी पहुंचने वाले हैं। इनके अलावा काशी, मथुरा, बनारस, अयोध्या, अमरकंटक और चित्रकूट से बड़ी संख्या में साधु-संतों को न्योता दिया जाएगा।
पूर्व में आयोजित कुंभ मेले में श्रद्धालुओं के साथ मंत्री बृजमोहन अग्रवाल।
देश भर में बटेगा राजिम कुंभ का न्योता
राजिम कुंभ के पहुंच मार्ग को बनाने का काम तेजी से किया जा रहा है। काम में किसी भी प्रकार की लापरवाही ना हो, इसलिए छत्तीसगढ़ पर्यटन मंडल, संस्कृति विभाग और जिला प्रशासन के अधिकारी लगातार मॉनिटरिंग कर रहे हैं।
छत्तीसगढ़ पर्यटन मंडल के अधिकारियों ने बताया, कि देश के सभी राज्यों में राजिम कुंभ का न्योता भेजा जाएगा। मंत्री बृजमोहन अग्रवाल के निर्देश पर इसका मसौदा तैयार किया गया है। बड़ी संख्या में VIP मेहमान राजिम कुंभ में शामिल हो सकते हैं।
बृजमोहन अग्रवाल ने रायपुर के राम मंदिर में न्योता दिया।
राजिम मंदिर के चारों ओर बनेगा परिक्रमा पथ
राजिम कुंभ और उससे जुड़ी कहानियां श्रद्धालुओं और अतिथियों को पता चले इसके लिए राजिम मंदिर के चारों ओर परिक्रमा पथ बनाया जा रहा है। वहीं दूसरे राज्यों के कारोबारियों को भी दुकानें मेले परिसर में दी गई है जिससे मेले को पर्यटन की तर्ज पर भी बढ़ावा मिल सके। शाही जुलूस, साधू-संतों का दरबार, झांकियां, नागा साधुओं और धर्मगुरुओं की मौजूदगी से राजिम की रौनक बढ़ेगी।
अलग-अलग घाट का निर्माण करने का निर्देश जिला प्रशासन ने विभागीय अधिकारियों को दिया है।
25 से ज्यादा सेक्टर बनेंगे
मेले में वीवीआईपी गेस्ट, वीआईपी गेस्ट, साधू-संतों, श्रद्धालुओं और पुलिसकर्मियों के रुकने के लिए 25 से ज्यादा सेक्टर बनाए जाएंगे। इन सेक्टर में रुकने की व्यवस्था के अलावा, शौचालय, नहाने और भोजन की अलग से व्यवस्था की जाएगी। कुंभ में एक मुख्य स्टेज बनाया जाएगा और इसके अलावा छोटे-छोटे स्टेज अलग से बनाए जाएंगे।
पॉर्किंग बनेगी और रोडमैप जारी होगा
राजिम कुंभ पहुंचने वाले अतिथियों-श्रद्धालुओं को किसी तरह की परेशानी ना हो, इसलिए मेले के चारों तरफ पॉर्किंग बनाई जाएगी। पॉर्किंग का रोडमैप भी जिला प्रशासन और पुलिस की ओर से जारी किया जाएगा। कुंभ के उद्धाटन से पहले रोडमैप और पॉर्किंग की लोकेशन जारी की जाएगी।
सांस्कृतिक कार्यक्रम का होगा आयोजन, प्रदर्शनी लगेगी
पर्यटन विभाग के अधिकारियों के अनुसार कुंभ स्थल में स्थानीय कलाकारों के सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुति के लिए एक अलग से मंच बनाया जाएगा। इसमें सुबह 11 बजे से शाम 5 बजे तक कार्यक्रम चलेगा। इसके अलावा राजिम के आसपास की सभी सड़कों की मरम्मत की जाएगी। बिजली कंपनी को लाइटिंग, ट्रांसफॉर्मर, जनरेटर की व्यवस्था, सजावट, पुल पुलिया में रोशनी का निर्देश दिया गया है।
कांग्रेस सरकार में राजिम कुंभ का नाम पुन्नी मेला रखा गया, उस सम इस तरह से आयोजन हुआ था।
छत्तीसगढ़ का प्रयागराज है राजिम
राजिम को छत्तीसगढ़ का प्रयागराज कहा जाता है। यहां पर तीन नदियों महानदी, पैरी और सोंढूर का संगम है। इसे छत्तीसगढ़ का त्रिवेणी संगम कहा जाता है। इसी पवित्र संगम के बीच राजिम कुंभ लगता है। यहां कुलेश्वर महादेव का प्राचीन शिवमंदिर स्थापित हैं।
पुराणों के अनुसार, वनवास के दौरान भगवान राम, माता सीता, लक्ष्मण सहित यहां आए थे। कुलेश्वर महादेव की स्थापना भगवान राम ने की थी। इसके अलावा राजिम के प्राचीन राजीवलोचन मंदिर का दर्शन करने भी श्रद्धालु दूर-दूर से पहुंचते हैं।
सीएम विष्णुदेव साय ने शुक्रवार काे राजिम कुम्भ कल्प 2024 के लोगो का विमोचन किया।
भूपेश बघेल सरकार ने बदला था नाम
बीजेपी की रमन सरकार में साल 2006 में राजिम कुंभ मेले की शुरुआत हुई थी। यह मेला लगातार 12 वर्ष तक चला। साल 2018 में राज्य में कांग्रेस की सरकार बनने के बाद तत्कालीन सीएम भूपेश बघेल ने कुंभ का नाम बदलकर राजिम माघी पुन्नी मेला कर दिया था। प्रदेश में साय सरकार बनने के बाद फिर से राजिम कुंभ नाम देकर उसे बड़े पैमाने पर मनाने का निर्णय लिया गया है।
सीएम ने किया लोगो और पंचाग का विमोचन
सीएम विष्णुदेव साय ने विधानसभा कार्यालय कक्ष में राजिम कुम्भ कल्प 2024 के लोगो और छत्तीसगढ़ सांस्कृतिक पंचांग का विमोचन किया। इस अवसर पर संस्कृति मंत्री बृजमोहन अग्रवाल, विधायक धरम लाल कौशिक, विधायक अनुज शर्मा, संस्कृति विभाग के सचिव अन्बलगन पी मौजूद रहे।
साथ ही संस्कृति विभाग के संचालक विवेक आचार्य, पर्यटन मंडल के प्रबंध संचालक जितेंद्र शुक्ला उपस्थित थे। सांस्कृतिक पंचांग की जानकारी देते हुए सीएम साय को बताया गया कि पंचांग में प्रदेश में आयोजित होने वाले सभी 84 मेले एवं महोत्सवों की जानकारी दी गई है।
छत्तीसगढ़ सांस्कृतिक पंचांग का भी विमोचन किया गया।
युद्धस्तर पर इन कामों को किया जा रहा है-
- राजिम मंदिर के चारों तरफ परिक्रमा
- राजिम को जोड़ने वाली सभी सड़कों की मरम्मत
- राजिम कुंभ स्थलों को 25 सेक्टरों में तब्दील किया जाएगा
- पॉर्किंग निर्माण, रोडमैप और संकेत निर्माण
- पेयजल व्यवस्था के निर्देश दिए गए हैं
- 300 शौचालय बनाए जाएंगे
- यज्ञशाला का निर्माण होगा। राजिम स्थल के चारों तरफ बैरिकेडिंग की जाएगी।
- राजिम की ओर सभी दिशाओं से लगभग 100 बस अलग-अलग टाइमिंग में रात 2 बजे तक चलाने के निर्देश दिए।
- 100 से अधिक संख्या में दाल भात केंद्र संचालित होंगे।
- स्वास्थ्य विभाग को 24 घंटे चिकित्सा व्यवस्था के लिए चिकित्सक और एम्बुलेंस के साथ मुस्तैद रहने का निर्देश दिया गया है।
- 1500 से ज्यादा पुलिसकर्मी और फायर फाइटिंग टीम के सदस्य 24 घंटे मौजूद रहेंगे।
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