अयोध्या
अयोध्या में ईद उल फितर का त्योहार हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। जिले में 156 ईदगाह और 153 मस्जिदों में ईद-उल फितर की नमाज पढ़ी गई। मुस्लिम समाज के लोगों ने नमाज अदा करने के बाद एक-दूसरे को बधाई दी। सिविल लाइन ईदगाह में जगह कम होने के कारण बाहर भी ईद की नमाज पढ़ी गई।
वहीं, ईद पर रामलला के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने बाबरी के पूर्व पक्षकार इकबाल अंसारी को ईद की मुबारकबाद दी। सत्येंद्र दास इकबाल अंसारी के घर पहुंचे, गले मिले। सपा नेता और पूर्व मंत्री पवन पांडेय ईदगाह पहुंचकर लोगों को मुबारकबाद दी।
अयोध्या में ईद उल फितर पर नमाज पढ़ते लोग।
इकबाल अंसारी बोले-सभी गिले-सिकवे भूलकर भाईचारा के साथ रहे
राम जन्मभूमि के मुख्य पुजारी पंडित सत्येंद्र दास बाबरी के पूर्व पक्षकार रहे इकबाल अंसारी के घर पहुंचे। ईद की मुबारकबाद दी। इकबाल अंसारी ने माला पहनाकर उनका स्वागत किया। दोनों एक-दूसरे के गले मिले। इकबाल अंसारी ने कहा- यह धर्म की नगरी है। यह देवी देवताओं की नगरी है। यहां के साधु-संत पूज्य माने जाते हैं। हिंदू मुस्लिम यहां सभी त्योहार एक-दूसरे के साथ मनाते हैं।
बाबरी के पूर्व पक्षकार इकबाल अंसारी।
इकबाल अंसारी ने कहा- पुजारी जी हमारे निमंत्रण पर हमारे यहां पधारे हैं। अयोध्या में सभी भाईचारे के साथ रहते हैं। यहां गंगा-यमुना तहजीब कायम है। इसलिए पूरे मुल्क ही नहीं, दुनिया को यहां की धरती से संदेश है कि सभी गिले-सिकवे भूलकर भाईचारा के साथ रहे। इसी में सभी को शांति मिलेगी।
राम मंदिर के मुख्य पुजारी बोले-सभी अपने-अपने धर्म पर चलें
राम मंदिर के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास।
राम मंदिर के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने कहा- रामलला की जिस दिन प्राण प्रतिष्ठा हुई है, उसी दिन से रामराज्य शुरू हो गया है। राम राज्य क्या है, इसको सभी को समझना चाहिए।उन्होंने कहा- ‘सब नर करहिं परस्पर प्रीती। चलहिं स्वधर्म निरत श्रुतिनीती।’ मानव में सद्भाव हो, सभी विषमताएं समाप्त हो जाए। हिंदू और मुसलमान या किसी भी संप्रदाय के बीच कोई विवाद न हो। सभी अपने-अपने धर्म पर चलें। हिंदू, मुसलमान, सिख और ईसाई सभी अपने-अपने धर्म पर चले। यहीं संदेश रामराज्य का है। सत्येंद्र दास ने इकबाल अंसारी और सभी मुस्लिम समाज के लोगों को ईद की शुभकामनाएं दी।
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