अहमदाबाद। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने रविवार को
अपने 67वें जन्मदिन पर नर्मदा नदी पर बने सरदार सरोवर बांध का उद्घाटन करते
हुए इसे देश को समर्पित किया। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी गुजरात में
पिछले कई दशकों से तमाम विवादों में घिरे रहे सरदार सरोवर नर्मदा बांध
परियोजना का लोकार्पण किया है और अब वे थोड़ी देर में एक रैली को भी
संबोधित करेंगे।
गुजरात विधानसभा चुनावों से पहले मोदी की इस रैली को
राजनीतिक लिहाज से काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है। मोदी आज नर्मदा जिले
के केवड़िया स्थित सरदार सरोवर नर्मदा बांध परियोजना जाएंगे। बांध पर ही वह
नर्मदा नदी की पूजा-अर्चना करेंगे। इसके बाद वह इस परियोजना का लोकार्पण
करेंगे। इस नर्मदा बांध परियोजना की परिकल्पना सरदार वल्लभभाई पटेल ने 1946
में ही की थी।
प्रधानमंत्री बांध के समीप ही बन रही सरदार वल्लभ भाई
पटेल की विशालकाय प्रतिमा ‘स्टेचू आफ यूनिटी’ के निर्माण में हुई प्रगति
का जायजा भी लेंगे। यह विश्व की सबसे ऊंची प्रतिमा बनने जा रही है। इस
प्रतिमा का निर्माण सरदार वल्लभभाई राष्टीय एकता ट्रस्ट करवा रहा है। इसके
निर्माण कार्य का ठेका एल एंड टी कंपनी को दिया गया है। इस विशाल प्रतिमा
के निर्माण के लिए एक जून 2018 का समय तय किया गया था लेकिन इसके अब
अक्तूबर 2018 में पूरा होने के आसार हैं।
मोदी इसके बाद वडोदरा के
डभोई में एक सार्वजनिक रैली को संबोधित करेंगे। सुबह 11.10 बजे वह डभोई
पहुंचेंगे और 11.15 से 12.45 बजे के बीच नर्मदा महोत्सव के समापन कार्यक्रम
में शामिल होंगे। यहां वह नेशनल ट्राइबल फ्रीडम फाइटर्स म्यूजियम का
शिलान्यास करेंगे। दोपहर 2.25 बजे वह अमरेली पहुंचेंगे और 2.35 से 2.45 बजे
के बीच वह एपीएमसी अमरेली के नये मार्केट यार्ड का उद्घाटन करेंगे।
दोपहर
3.05 से 3.20 बजे के बीच वह अमरेली में अमर डेरी के नये प्लांट्स का
उद्घाटन करेंगे और हनी प्रोडक्शन सेंटर का शिलान्यास करेंगे। दोपहर 3.40
बजे वह अमरेली के कमानी फारवर्ड हाईस्कूल ग्राउंड पहुंचेंगे जहां वह सहकार
सम्मेलन में शामिल होंगे। यहीं पर वह वीडियो लिंक के जरिये हरे कृष्णा
सरोवर का उद्घाटन करेंगे। इसके साथ ही डेरी साइंस कॉलेज का भी उद्घाटन
करेंगे।
दो दिन के भीतर प्रधानमंत्री का दूसरा गुजरात दौरा –
दो
दिन के अंदर ही प्रधानमंत्री का ये दूसरा गुजरात दौरा है। जापानी पीएम
शिंजो आबे की यात्रा के दौरान 14 और 15 सितंबर को भी नरेंद्र मोदी गुजरात
में ही थे। इस साल के अंत में गुजरात में विधानसभा चुनाव है। नरेंद्र मोदी
के प्रधानमंत्री बनने के बाद ये गुजरात का पहला चुनाव होगा। ऐसे में
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गुजरात में मौजूदगी पिछले तीन सालों के
मुकाबले अगले कुछ महीने में बढ़नी तय है।
सरदार सरोवर नर्मदा बांध परियोजना की खासियत –
– 1945 में सरदार पटेल ने की थी पहल
– 5 अप्रैल 1961: प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू ने रखी थी नींव
– 56 साल लगे इस बांध को बनाने में
– 65 हजार करोड़ रुपये हुए खर्च
– 138 मीटर ऊंचाई, देश में बना सबसे ऊंचा बांध
– 30 दरवाजे हैं, हर दरवाजे का वजन 450 टन
– 4.73 मिलियन क्यूबिक पानी जमा करने की क्षमता
– 6000 मेगावॉट बिजली पैदा होगी बांध से
– 86.20 लाख क्यूबिक मीटर कॉन्क्रीट का प्रयोग बांध बनाने में।
सरदार सरोवर नर्मदा बांध परियोजना से यह होगा फायदा –
बताया
गया है कि सरदार सरोवर बांध का सबसे अधिक फायदा गुजरात को मिलेगा। यहां के
15 जिलों के 3137 गांवों के 18.45 लाख हेक्टेयर भूमि की सिंचाई की जा
सकेगी। वहीं, बिजली का सबसे अधिक 57 प्रतिशत हिस्सा मध्य प्रदेश को मिलेगा।
महाराष्ट्र को 27 प्रतिशत, जबकि गुजरात को 16 प्रतिशत बिजली मिलेगी। दूसरी
ओर, राजस्थान को सिर्फ पानी मिलेगा।
अपने 67वें जन्मदिन पर नर्मदा नदी पर बने सरदार सरोवर बांध का उद्घाटन करते
हुए इसे देश को समर्पित किया। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी गुजरात में
पिछले कई दशकों से तमाम विवादों में घिरे रहे सरदार सरोवर नर्मदा बांध
परियोजना का लोकार्पण किया है और अब वे थोड़ी देर में एक रैली को भी
संबोधित करेंगे।
गुजरात विधानसभा चुनावों से पहले मोदी की इस रैली को
राजनीतिक लिहाज से काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा है। मोदी आज नर्मदा जिले
के केवड़िया स्थित सरदार सरोवर नर्मदा बांध परियोजना जाएंगे। बांध पर ही वह
नर्मदा नदी की पूजा-अर्चना करेंगे। इसके बाद वह इस परियोजना का लोकार्पण
करेंगे। इस नर्मदा बांध परियोजना की परिकल्पना सरदार वल्लभभाई पटेल ने 1946
में ही की थी।
प्रधानमंत्री बांध के समीप ही बन रही सरदार वल्लभ भाई
पटेल की विशालकाय प्रतिमा ‘स्टेचू आफ यूनिटी’ के निर्माण में हुई प्रगति
का जायजा भी लेंगे। यह विश्व की सबसे ऊंची प्रतिमा बनने जा रही है। इस
प्रतिमा का निर्माण सरदार वल्लभभाई राष्टीय एकता ट्रस्ट करवा रहा है। इसके
निर्माण कार्य का ठेका एल एंड टी कंपनी को दिया गया है। इस विशाल प्रतिमा
के निर्माण के लिए एक जून 2018 का समय तय किया गया था लेकिन इसके अब
अक्तूबर 2018 में पूरा होने के आसार हैं।
मोदी इसके बाद वडोदरा के
डभोई में एक सार्वजनिक रैली को संबोधित करेंगे। सुबह 11.10 बजे वह डभोई
पहुंचेंगे और 11.15 से 12.45 बजे के बीच नर्मदा महोत्सव के समापन कार्यक्रम
में शामिल होंगे। यहां वह नेशनल ट्राइबल फ्रीडम फाइटर्स म्यूजियम का
शिलान्यास करेंगे। दोपहर 2.25 बजे वह अमरेली पहुंचेंगे और 2.35 से 2.45 बजे
के बीच वह एपीएमसी अमरेली के नये मार्केट यार्ड का उद्घाटन करेंगे।
दोपहर
3.05 से 3.20 बजे के बीच वह अमरेली में अमर डेरी के नये प्लांट्स का
उद्घाटन करेंगे और हनी प्रोडक्शन सेंटर का शिलान्यास करेंगे। दोपहर 3.40
बजे वह अमरेली के कमानी फारवर्ड हाईस्कूल ग्राउंड पहुंचेंगे जहां वह सहकार
सम्मेलन में शामिल होंगे। यहीं पर वह वीडियो लिंक के जरिये हरे कृष्णा
सरोवर का उद्घाटन करेंगे। इसके साथ ही डेरी साइंस कॉलेज का भी उद्घाटन
करेंगे।
दो दिन के भीतर प्रधानमंत्री का दूसरा गुजरात दौरा –
दो
दिन के अंदर ही प्रधानमंत्री का ये दूसरा गुजरात दौरा है। जापानी पीएम
शिंजो आबे की यात्रा के दौरान 14 और 15 सितंबर को भी नरेंद्र मोदी गुजरात
में ही थे। इस साल के अंत में गुजरात में विधानसभा चुनाव है। नरेंद्र मोदी
के प्रधानमंत्री बनने के बाद ये गुजरात का पहला चुनाव होगा। ऐसे में
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गुजरात में मौजूदगी पिछले तीन सालों के
मुकाबले अगले कुछ महीने में बढ़नी तय है।
सरदार सरोवर नर्मदा बांध परियोजना की खासियत –
– 1945 में सरदार पटेल ने की थी पहल
– 5 अप्रैल 1961: प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू ने रखी थी नींव
– 56 साल लगे इस बांध को बनाने में
– 65 हजार करोड़ रुपये हुए खर्च
– 138 मीटर ऊंचाई, देश में बना सबसे ऊंचा बांध
– 30 दरवाजे हैं, हर दरवाजे का वजन 450 टन
– 4.73 मिलियन क्यूबिक पानी जमा करने की क्षमता
– 6000 मेगावॉट बिजली पैदा होगी बांध से
– 86.20 लाख क्यूबिक मीटर कॉन्क्रीट का प्रयोग बांध बनाने में।
सरदार सरोवर नर्मदा बांध परियोजना से यह होगा फायदा –
बताया
गया है कि सरदार सरोवर बांध का सबसे अधिक फायदा गुजरात को मिलेगा। यहां के
15 जिलों के 3137 गांवों के 18.45 लाख हेक्टेयर भूमि की सिंचाई की जा
सकेगी। वहीं, बिजली का सबसे अधिक 57 प्रतिशत हिस्सा मध्य प्रदेश को मिलेगा।
महाराष्ट्र को 27 प्रतिशत, जबकि गुजरात को 16 प्रतिशत बिजली मिलेगी। दूसरी
ओर, राजस्थान को सिर्फ पानी मिलेगा।
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